न्यूज़ रिपोर्टर हीरा सिंह गुर्जर
नादौती
विभागीय कुप्रबंधन पड़ रहा भारी टैंकर से पानी मगवाने की मजबुरी
करोड़ों रुपए की जल योजनाओं के बाद भी जनता रह गई प्यासी
नादौती उपखंड क्षेत्र की पेयजल व्यवस्थाओं के नाम पर सरकार की ओर से करोड़ों की राशि खर्च करने के बाद भी विभागीय कुप्रबंधन के चलते नादौती की जनता प्यासी है। ग्रामीणों को पेयजल समस्या से निजात दिलाने के नाम पर प्रशासन जिला प्रशासन सहित विवाह की अधिकारी विफल साबित हो रहे हैं। क्षेत्र की जनता को शुद्ध पेयजल मोहे करने को लेकर सरकार की ओर से दर्जनों जल योजनाओं के गठन के अलावा सवाई माधोपुर नादौती चंबल परियोजना जल जीवन मिशन जनता जल योजना आदि पर करोड़ों रुपए की राशि खर्च की गई है। लेकिन सही मायने में इसका लाभ नहीं मिल पा रहा है। जल योजनाओं से जुड़ी राइजिंग मैन लाइन वह गांव में नल कनेक्शन के लिए। बचाई गई लाइनों में मनचाहे नल कनेक्शन के नाम पर पाइप लाइनों को चीन कर दिया है। जिसकी वजह से पानी बर्बाद हो रहा है। मेढे का पूरा के पूर्व सरपंच शिवचरण सिंह गुर्जर ने बताया है। कि मेढे का पूरा पंचायत मुख्यालय इसे जुड़े आधा दर्जन गांवों में लंबे समय से पेयजल नहीं पहुंच पा रहा है इसकी वजह से ग्रामीण भीषण गर्मी में पेयजल को तरस रहे हैं। बागोर के गोपाल बोहरा विजेंद्र कुमार आदि ग्रामीण ने बताया कि गांव में ऊंचाई पर बसे लोग पेयजल संकट से चूज रहे हैं कस्बा शहर के सरपंच प्रतिनिधि राहुल सिंह पूर्व सरपंच राशिद खान मोहन सिंह आदि ग्रामीणों ने बताया कि गांव की व्यवस्था डबरा जल योजना से जुड़ी किले के नीचे बनी टंकी में से लंबे समय से पानी नहीं भर रहा जा रहा है जिसकी वजह से पेयजल की गंभीर समस्या बनी हुई है। ग्रामीण जिला कलेक्टर डॉ गौरव सैनी से संबंधित अधिकारियों से इस बीच अनेक बार शिकायत की जाने के बाद भी पेयजल की व्यवस्था नहीं की गई। ग्रामीण₹1200 सौ 1300सौ रुपए में टैंकर खरीद कर प्यास बुझा रहे हैं। इसी प्रकार बाडा पिचानौत व सावटा आदि गांवों में नियमित जलापूर्ति नहीं होने से पेयजल की गंभीर समस्या से ग्रामीण जूझ रहे हैं।


















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